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वाइटलबीम

अवलोकन

वाइटलबीम एक उन्नत रेडिएशन डिलीवरी प्लेटफार्म है जो इंटेलिजेंट ऑटोमेशन द्वारा ट्‌यूमर्स उपचारित करने के लिए डिज़ाइन किया गया है जिससे न केवल ट्‌यूमर को सटीक ढंग से टार्गेट करने में, बल्कि कुल उपचार अवधि कम करने में भी मदद मिलती है। सबसे बेहतर इमेज गाइडेंस और सटीक रेडिएशन डिलीवरी के लिए वाइटलबीम, इंटेंसिटी-मॉडुलेटेड रेडिएशन थेरेपी (IMRT) और इमेज-गाइडेड रेडिएशन थेरेपी (IGRT) को संयोजित करते हुए दोनों के सर्वोत्तम लाभ प्रदान करता है।

यह प्लेटफार्म, सटीकता से जुड़े अनेक मापदंडों को सिंक्रोनाइज करने के लिए पर्याप्त स्मार्ट है, जैसे कि इमेजिंग, रोगी की पोजीशनिंग, गति प्रबंधन (मोशन मैनेजमेन्ट), रेडिएशन बीम की शेपिंग और डोज डिलीवरी तथा हर दस मिलीसेकेंड पर सटीकता का मूल्यांकन। इस प्रकार वाइटलबीम, आसपास के स्वस्थ ऊतकों को होने वाला नुकसान कम से कम करते हुए उत्कृष्ट सटीक रेडिएशन डिलीवरी को सपोर्ट करता है।

यह प्लेटफार्म मुख्यरूप से स्तन, सिर और गर्दन, रीढ़, फेफड़ों और प्रोस्टेट तथा अन्य भागों के कैंसर उपचारित करने के लिए उपयोग किया जाता है।

वाइटलबीम किस तरह काम करता है?

वाइटलबीम सिस्टम में एक स्ट्रीमलाइन्ड ट्रीटमेन्ट कंसोल और एक चलाने में आसान ग्राफिकल इंटरफेस है जिसमें इमेजिंग, मोशन मैनेजमेन्ट, और रेडिएशन डिलीवरी के लिए एक ही स्थान पर कंट्रोल दिए होते हैं। इस एकीकरण से स्पेशलिस्ट्‌्‌स को जटिल कैंसरों को शक्तिशाली रेडियोथेरेपी मॉडलिटीज जैसे कि इंटेंसिटी-मॉडुलेटेड रेडिएशन थेरेपी या रैपिडआर्क® रेडियोथेरेपी को न्यूनतम दुष्प्रभावों के साथ उपचारित करने में मदद मिलती है। इसकी उच्च गुणवत्ता वाली इमेजिंग विशेषता, यह सुनिश्चित करने में अत्यन्त महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाती है कि ट्‌यूमर को सटीक ढंग से रेडिएशन डिलीवर किया गया है और आसपास के ऊतकों को होने वाला नुकसान उल्लेखनीय रूप से कम है।

वाइटलबीम उपचार सत्रों के दौरान रोगी से ट्रीटमेन्ट काउच पर लेटने के लिए कहा जाएगा जिस दौरान मशीन उसके आसपास घूमते हुए कई कोणों से रेडिएशन बीम डिलीवर करेगी।

उन्नत रेडिएशन प्लेटफार्म होने के कारण वाइटलबीम रेडिएशन बीम्स को ट्‌यूमर के आकार-प्रकार के अनुसार शेप करता है। इससे आसपास के स्वस्थ ऊतकों और क्रिटिकल संरचनाओं को सुरक्षित रखने में मदद मिलती है।

दी जाने वाली रेडिएशन बीम, ट्‌यूमर कोशिकाओं की DNA संरचना को नष्ट करते हुए उन्हें मार देती हैं। सत्रों की संख्या विविध कारकों जैसे कि ट्‌यूमर के साइज़, लोकेशन और शेप पर निर्भर करती है। IMRT और IGRT उपचार कई सप्ताह तक प्रतिदिन दिए जाते हैं, जबकि SRS और SBRT उपचार आमतौर से 1 से 5 सत्रों में दिए जाते हैं और पूरे उपचार में केवल 1 से 2 सप्ताह तक लग सकते हैं।

अंत में, हर सत्र केवल 10 से 20 मिनट तक चलता है।

वाइटलबीम के लाभ

वाइटलबीम की इमेजिंग और मोशन मैनेजमेन्ट विशेषता स्पेशलिस्ट्‌्‌स को शुद्ध सटीकता के साथ ट्‌यूमर को टार्गेट करने में मदद करती है। यह क्लीनिकल परिणामों को सकारात्मक प्रभावित करता है।


इसकी रेस्पिरेटरी गेटिंग विशेषता, रेडिएशन बीम्स को ट्‌यूमर से चूकने या स्वस्थ कोशिकाओं को टार्गेट बनाने से रोकती है। इससे दुष्प्रभावों का जोखिम कम करने में मदद मिलती है।


पहुंच में कठिन ट्‌यूमर्स अधिक सटीकता के साथ उपचारित करने में वाइटलबीम स्पेशलिस्ट की मदद करती है।


वाइटलबीम ट्‌यूमर को कई कोणों से टार्गेट करती है और स्पेशलिस्ट्‌्‌स को सकारात्मक क्लीनिकल परिणाम प्राप्त करने में मदद करती है।


इसकी इंटेलिजेंट ऑटोमेशन विशेषता, प्लेटफार्म को अपेक्षाकृत कम समय अवधि में हाई डोज रेडिएशन डिलीवर करने में मदद करती है। इससे, उपचार की कुल अवधि उल्लेखनीय रूप से कम हो जाती है।


यह एक नॉन -इन्वेसिव प्रक्रिया है जो सुरक्षित, प्रभावी है और इससे उपचार-संबंधी जटिलताएं कम होती हैं।

अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

वाइटलबीम प्लेटफार्म कई वज़हों से अद्वितीय और शक्तिशाली है। यह ज्यादा तेज, सटीक और प्रभावी रेडिएशन थेरेपी डिलीवर करता है।

वाइटलबीम का अद्वितीय इंटेलिजेंट ऑटोमेशन, CT-इमेजिंग, रोगी की पोजीशनिंग, मोशन मैनेजमेन्ट, बीम शेपिंग और अंत में, रेडिएशन डिलीवरी को गतिशील ढंग से सिंक्रोनाइज करता है और इस तरह ट्‌यूमर को सटीक ढंग से रेडिएशन डिलीवर किया जाना सुनिश्चित करता है।

यह विशेषता, आसपास के स्वस्थ ऊतकों को होने वाला नुकसान कम करने में मदद करती है और अधिक जल्दी रिकवरी को सपोर्ट करती है। ये सभी बातें वाइटलबीम को अद्वितीय और उसके साथ ही रोगी के अधिक अनुकूल भी बनाती हैं।

यह आपके कैंसर के प्रकार, इसकी अवस्था और साइज़ पर निर्भर करता है। कुछ कैंसरों के लिए कई सत्र आवश्यक होते हैं, जबकि कुछ कैंसर अपेक्षाकृत कम सत्रों में ही उपचारित हो सकते हैं।

आपकी उपचार योजना के बारे में आपकी एक्सपर्ट टीम आपसे चर्चा करते समय आपको आपके उपचार सत्रों, उनकी संख्या और फ्रीक्वेंसी के बारे में भी बताएगी। यदि आपका कोई प्रश्न हो तो आप इस चर्चा के दौरान उनसे इसका समाधान करा सकते हैं।

अब रेडिएशन थेरेपी से उपचार जटिलताएं अपेक्षाकृत कम होती हैं। हमने अनेक रोगियों को उपचार के लगभग तुरंत बाद फिर से उनका सामान्य जीवन जीते देखा है। हालांकि कुछ लोगों को थकावट, दर्द, त्वचा पर प्रतिक्रियाएं, इम्यूनिटी कम होना, भूख न लगना आदि समस्याएं महसूस हो सकती हैं जो उपचारित अंग पर निर्भर होती हैं। ये दुष्प्रभाव 3 से 4 सप्ताह में समाप्त हो सकते हैं या ये 4 महीने तक बने रह सकते हैं।

हालांकि, यदि आपके दुष्प्रभाव गंभीर हों, तो आपको अपने डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए।

नीचे कुछ उपाय दिए गए हैं जो आप उपचार के बाद बेहतर महसूस करने के लिए कर सकते हैं:

  • प्रत्येक उपचार सत्र के बाद पर्याप्त आराम करें।
  • स्वस्थ खानपान खाएं और हल्के व्यायाम करें; आपके स्वास्थ्य में सुधार के साथ आपके व्यायाम की इंटेंसिटी बदल सकती है।
  • अपनी पसंदीदा गतिविधियों में खुद को व्यस्त करते हुए तनाव कम करें।
  • इसे समझें कि आपको आदी होने में कुछ समय लग सकता है, और उसी के अनुसार अपनी गतिविधियों की योजना बनाएं।
  • अपनी एक्सपर्ट टीम द्वारा दिए गए फॉलो-अप निर्देशों का पालन करना सुनिश्चित करें।

नहीं, PET-CT स्कैन कराने के लिए आपको भर्ती होने की ज़रूरत नहीं है। हालांकि, आपके स्कैन से पहले आपके भोजन करने और पानी पीने के बारे में आपके डॉक्टर विशेष निर्देश देंगे, और इनका बिना किसी चूक के पालन करें।

अपने डिजिटल PET-CT स्कैन से पहले आपको कुछ बातों का ध्यान रखने की ज़रूरत हैः आपको अपने स्कैन से लगभग छह घंटे पहले से कुछ भी खाने से बचना चाहिए। आपको स्कैन से 24 घंटे पहले से कोई व्यायाम करने से बचना चाहिए। जांच से पहले आपको धातु की चीज़ें जैसे कि ज्वैलरी, हेयरपिन, दंतावली, चश्मा आदि हटा देना चाहिए क्योंकि यह CT स्कैन के परिणामों को प्रभावित कर सकते हैं।